Home समाचार ग्रेट-समाचार कोर्ट:बीमार जानवरों को ले जाने वाले वाहनों को न रोके महाराष्ट्र सरकार

कोर्ट:बीमार जानवरों को ले जाने वाले वाहनों को न रोके महाराष्ट्र सरकार

बम्बई उच्च न्यायालय ने महाराष्ट्र सरकार को यह सुनिश्चित करने का आदेश दिया है कि लॉकडाउन के दौरान पशु चिकित्सालय जा रहे या वहां से आ रहे पशुओं को ले जाने वाली एम्बुलेंसों या वाहनों को रोका नहीं जाए। न्यायमूर्ति एस सी गुप्ते ने शुक्रवार को दिए अपने आदेश में कहा कि पुलिस प्रशासन इस प्रकार के वाहनों को रोके नहीं।

उन्होंने राज्य से कोरोना वायरस संक्रमण को काबू करने के लिए लागू किए गए बंद के दौरान लोगों को अपने कुत्तों को बाहर टहलाने के लिए ले जाने पर अपना रुख भी स्पष्ट करने को कहा। पुणे के एक निवासी ने एक जनहित याचिका दायर कर अपने कुत्तों को रोजाना टहलाने के लिए बाहर ले जाने की अनुमति मांगी है।

याचिकाकर्ता के वकील हर्षवर्धन भेंडे ने दावा किया कि पुणे पुलिस के क्षेत्राधिकार में आने वाले कई पुलिस थानों ने हाउसिंग सोसाइटी को ये मनमाने आदेश जारी किए हैं कि लोगों को अपने कुत्तों को बाहर टहलाने से रोका जाए। उन्होंने अदालत से कहा कि पुलिस ने बीमार पशुओं को पशु चिकित्सालय ले जा रहे कई वाहनों को रोका हैं और उन्हें ”पास जारी नहीं किए जा रहे हैं।

हालांकि महाराष्ट्र सरकार के वकीलों पी बी काकड़े और एम एम पाबले ने अदालत को बताया कि नागरिकों को अपने आवासीय परिसरों में अपने कुत्तों को टहलाने की अनुमति है। राज्य ने लोगों को अपनी आवासीय सोसाइटी के परिसर से बाहर कुत्ते टहलाने से रोका है। उन्होंने कहा कि राज्य ने पुलिस प्रशासन को पशुओं को पशु चिकित्सालय जा रहे वाहनों को रोकने के आदेश नहीं दिए हैं।

अदालत ने राज्य की दलील स्वीकार कर ली लेकिन कहा कि यदि भारतीय पशु कल्याण बोर्ड ने पशुओं को बाहर टहलाने के संबंध में राज्य के डीजीपी को इस प्रकार का कोई निर्देश दिया है, तो राज्य इस मामले में उचित निर्णय ले और अदालत को मामले की सुनवाई के लिए तय अगली तारीख में इस बारे में सूचित करे। उसने कहा, ‘इस बीच, राज्य को आदेश दिया जाता है कि वह पुलिस प्रशासन को पशु चिकित्सालयों से आ रहे या वहां ले जाए जा रहे पशुओं को न रोके जाने के आदेश जारी करें।’